ODOP फसल नाम - अदरक
राज्य - हरियाणा
जिला – पंचकूला

अदरक प्रकृति का एक अनमोल उपहार है क्योंकि इसके औषधीय मूल्यों को व्यापक रूप से मान्यता प्राप्त है। भगवान ने नहीं इसे चेहरे की सुंदरता दी लेकिन इसे आश्चर्यजनक रूप सेलाभकारी गुण पूर्ण बना दिया है। दुनिया में भारत अदरक का  50% का उत्पादन करता है और इसका 50% उत्तर-पूर्वी राज्य और अन्य अदरक उत्पादक राज्य केरल, उड़ीसा और पश्चिम बंगाल में उत्पादन होता है। उत्तर भारत में सर्वाधिक अदरक का उत्पादन हिमाचल प्रदेश के तलहटी क्षेत्र में होता है। हरयाणा रजिए में  कुल अदरक का उत्पादन केवल 7% होता है और वो  मोरनी पहाड़ियों में से भी उठाया जाता है। अदरक की खेती आधारित होती है।
मिट्टी और जलवायु परिस्थितियों पर और सबसे अच्छा उत्पादन पैदल-पहाड़ी क्षेत्रों से होता है। 

मोरनी पहाड़ियाँ में अदरक उत्तम गुणवत्ता वाला अदरक होता है,  जो मुख्य रूप से अदरक पाउडर, सौंठ (सूखे अदरक) बनाने के लिए उपयोग किया जाता है।

केंद्र सरकार द्वारा एक लिस्ट जारी की गयी जिसमे पंचकूला की अदरक एक जिला एक उत्पाद में शामिल हुई।  
पंचकूला में वैसे तो पहले से ही खेती होती है और पंचकूला का मोरनी खंड अदरक से जाना जाता है।  यह दवा बनाने वाली अदरक की पैदावार होती है यह अच्छी किस्म की सौंठ बनती है।

मोरनी में करीब 2000 क्विंटल अदरक का उत्पादन होता है।  यह अदरक सामान्य रूप से खाने में नई इस्तेमाल की जाती इसका प्रयोग सोंठ बनाने में करते है।  

अदरक उत्पादक नरदेव सिंह राणा ने बताया कि मोरनी में किए जाने वाले अदरक से सौंठ बनाई जाती है। इसका प्रयोग फार्मा कंपनियां दवाओं को बनाने में करती हैं। इसलिए यहां की अदरक की डिमांड काफी है। चतर सिंह के अनुसार केंद्र द्वारा अदरक उत्पादन के लिए पंचकूला को चुनना महत्वपूर्ण बात है। मोरनी का पहाड़ी मौसम इसके एकदम अनुकूल है।